
कोटद्वार (गढ़वाल) प्रदेश के वरिष्ठ साहित्यकार, कई ऐतिहासिक पुस्तकों के लेखक इंजीo डॉक्टर बिहारी लाल दनोसी तक जब ये समाचार पहुंचा कि शैलशिल्पी विकास संगठन आठवीं बार गढ़वाल में स्वतंत्रता संग्राम के ऐतिहासिक पौड़ी काण्ड 6 सितंबर 1932 की स्मृति एवं पौड़ी काण्ड के नायक कर्मवीर जयानंद भारतीय जी के सम्मान में 6 सितंबर 2025 को पौड़ी काण्ड की वर्षगांठ के अवसर पर आठवें शैलशिल्पी पराक्रम दिवस समारोह का भव्य आयोजन होने जा रहा है तो उन्होंने 13अगस्त को ही कार्यक्रम की सफलता के लिए एक शुभकामना पत्र एवं 10 हजार रुपए के आर्थिक सहयोग का चेक मुझे स्पीड पोस्ट से भेज दिया जो मुझे आज 16 अगस्त की शाम को ही प्राप्त हुआ (संलग्न पत्र एवं चेक) मूल रूप से पौड़ी एवं वर्तमान में देहरादून निवासी विद्युत विभाग से सेवानिवृत इंजीo डॉक्टर बिहारी लाल दनोसी की उम्र लगभग 80 वर्ष से ऊपर ही होगी, आपने कई उत्कृष्ठ ऐतिहासिक विषयों पर कई पुस्तकें लिखी हैं। आपको यह जानकर आश्चर्य भी होगा कि,मेरी आजतक डॉक्टर बिहारी लाल दनोसी से मुलाकात तक नहीं हुई लेखन की व्यस्तता एवं स्वास्थ्य कारणों से आजतक वे शैलशिल्पी विकास संगठन के किसी कार्यक्रम में शामिल भी नहीं हो पाए, लेकिन आठ वर्ष पूर्व 10 दिसंबर 2017 जब से उत्तराखंड प्रदेश के मूलनिवासी शिल्पकार समाज के समग्र विकास को समर्पित शैलशिल्पी विकास संगठन की स्थापना हुई तब से वर्तमान तक उनकी तरफ से हमेशा संगठन को इसी तरह से आर्थिक सहयोग प्राप्त होता रहता है, इसी लिए मैंने प्रारंभ में ही लिख दिया था कि डॉक्टर बिहारी लाल दनोसी जैसे लोग ही शैलशिल्पी विकास संगठन की बुनियाद हैं जो दिखाई नहीं देते लेकिन वही लोग संगठन की शक्ति होते हैंसाथियों संगठन विगत आठ वर्षों से शिल्पकार समाज के समग्र विकास के लिए समर्पित भाव से कार्य कर रहा है, इन आठ वर्षों में कई बार संगठन के संचालन में मुझे व मेरे साथियों को हताशा, निराशा भी होती है, की जिस वंचित,शोषित शिल्पकार समाज के लिए संगठन काम करता है बड़े- बड़े आयोजन करता है उसी समाज के कई लोग कार्यक्रमों में शामिल होने से भी कतराते हैं, जिससे कई बार हम हतोत्साहित भी होते हैं, लेकिन फिर डॉक्टर बिहारी लाल दनोसी जैसे लोग अपनी मजबूत वैचारिक शक्ति से शैलशिल्पी विकास संगठन को ऊर्जा प्रदान कर आगे बढ़ने के लिए प्रेरित कर देते हैं, ऐसे बहुत से और भी लोग हैं जो संगठन की वास्तविक बुनियाद हैं,
मैं पुनः डॉक्टर बिहारी लाल दनोसी का आभार व्यक्त करते हुए पूरे संगठन की ओर से उनके स्वस्थ दीर्घायु जीवन की कामना करता हूं, इसी लेख के माध्यम से मैं डॉक्टर बिहारी लाल दनोसी से निवेदन भी करूंगा कि वे इस वर्ष आठवें शैलशिल्पी पराक्रम दिवस समारोह में शामिल होकर संगठन का मार्गदर्शन कीजिएगा।
प्रेषक –
विकास कुमार आर्य
प्रदेश अध्यक्ष
शैलशिल्पी विकास संगठन मुख्यालय – कोटद्वार गढ़वाल उत्तराखंड