मध्यप्रदेश शहडोल मध्य प्रदेश से PPID ने अपने इरादे स्पष्ट किये। 26 जून 2023 को मध्यप्रदेश के शहडोल में,आरक्षण नीति के जनक और बाबा साहब के सम्पूर्ण आंदोलन के सहयोगी, छत्रपति शाहू जी महाराज की जयंती के अवसर पर राष्ट्रीय स्तर का शासक बनने पर लागू करने वाला एजेंडा घोषित किया जो इस प्रकार है: 1. मूलनिवासियों को मुफ्तखोरी की आदत डालकर उन्हें शासक वर्ग बनने के उद्देश्य से भटकाने की साजिश है। 2. सभी स्तर की शिक्षा का पूर्णतः राष्ट्रीयकरण होगा। निजी शिक्षण संस्थानों को सरकारी बनाया जायेगा। हर तरह की शिक्षा उच्चतम स्तर तक नि:शुल्क दी जायेगी। ज़रूरत मंदों को प्राथमिक शिक्षा के लिए ₹ 7000/माह, मिडिल स्कूल के लिए ₹ 10000/प्रति माह, हायर तथा सीनियर सेकंडरी के लिए ₹ 12000/प्रतिमाह और उसके बाद ₹ 15000/प्रति माह वज़ीफ़ा प्रति विद्यार्थी पार्टी की सरकार देगी। सभी स्तर पर शिक्षण व्यवस्था को विश्वस्तरीय सुविधाएं दी जायेंगी तथा प्रबंधन भी विश्वस्तरीय किया जायेगा। शिक्षा के क्षेत्र में हर तरह का भेदभाव, भ्रष्टाचार, उपेक्षा और लापरवाही खत्म कर बौद्धकालीन विश्व स्तरीय हैसियत वापस ली जायेगी। राष्ट्रीय स्तर पर एक राष्ट्र-एक शिक्षा लागू की जायेगी। मंत्री, अधिकारी, कर्मचारी, व्यापारी, विधायक, सांसद, शिक्षक, प्रोफेसर, जज़, जिलाधिकारी,सरपंच आदि सभी लोक सेवकों के बच्चे केवल सरकारी संस्थाओं में ही पढ़ सकेंगे। शिक्षा से अंधविश्वास खत्म कर उसे पूर्णतः वैज्ञानिक बनाया जायेगा। शिक्षा में मूलनिवासी महापुरुषों के विचारों और उनके आंदोलनों को प्रमुखता दी जायेगी। 3. सभी प्रकार की स्वास्थ्य सेवाएं गांव से राष्ट्रीय स्तर तक नि:शुल्क दी जायेंगी और विश्व स्तरीय सुविधाओं से पूर्ण होंगीं। निज़ी क्षेत्र को स्वास्थ्य में कोई स्थान नहीं होगा। स्वास्थ्य क्षेत्र में पूर्ण राष्ट्रीय करण लागू होगा। 4. बाबा साहब अम्बेडकर की आर्थिक और कृषि नीतियों को विस्तार के साथ और जन कल्याण के लिए तथा राष्ट्रीय हित के लिए लागू किया जायेगा। अर्थात मिश्रित अर्थव्यवस्था लागू होगी और पूँजीवादी नीतियों को खत्म किया जायेगा। कृषि को हर पहलू से उद्योग का दर्जा दिया जायेगा। कृषि को राष्ट्रीय उद्योग बनाया जायेगा। 5. मुफ्तखोरी के स्थान पर हर परिवार को कम से कम एक रोज़गार की नीति लागू कर प्रत्येक नागरिक को सम्मानजनक जीवन सुनिश्चित किया जायेगा। प्रत्येक परिवार को कम से कम एक नौकरी सुनिश्चित होगी। इस तरह देश के निर्माण और विकास में सभी परिवार सहभागी होंगे। 6. भारत को भारत के संविधान का देश बनाया जायेगा। हर नागरिक को उद्देश्य, मूलअधिकार, कर्तव्य, नीतिनिदेशक सिद्धांत, प्रजातंत्र-गणतंत्र, समाजवाद, न्याय, समता, स्वतंत्रता, भाईचारा, जीवन का अधिकार, भेदभाव मुक्ति, भ्रष्टाचार मुक्ति, अत्याचार मुक्ति, शोषण मुक्ति, प्रतिनिधित्व पूर्ण भारत की संवैधानिक व्यवस्था से जोड़ा जायेगा। अर्थात भारत का संविधान अक्षरसः लागू किया जायेगा। पीपीआईडी इसमें आने वाली सभी बाधाओं को संवैधानिक तरीक़े से दूर करेगी। यह घोषित किया गया कि जो भारत का संविधान नहीं मानता वह भारत का विरोधी है। सभी समुदायों को व प्रत्येक नागरिक को, संविधान की उद्देशिका के अनुसार, अधिकार व जीवनयापन की गारण्टी पीपीआईडी की सरकार देगी। 7. इतिहास को एक जातिविशेष के प्रभाव में भेदभावपूर्ण तरीके से लिखा गया है। इसकी वैज्ञानिक खोज़बीन कराकर पुनः लिखा जायेगा जो कि बाबा साहब अम्बेडकर, महात्मा ज्योतिबा फुले, पेरियार ई.व्ही. रामासामी, अयोथीथास, शाहूजी महाराज, गुरू नानक, गुरू नारायणा, गुरू घासीदास, गुरू रैदास, संत कबीर, विश्व श्रेष्ठ दार्शनिक दथागत बुद्ध, सिंधु सभ्यता व्यवस्था, सम्राट अशोक महान, प्रजातंत्र का भारतीय इतिहास, भारत के समाज में जाति, ऊँचनींच, छुआछूत, जन्मआधारित घृणा, जातिय शोषण, जातिय अत्याचार, समाज का जातियों में विघटन और विदेशी ताकतों का शासक बनना, अंग्रेजी शासन के विरुद्ध आंदोलन, मुगलों व अन्य मुस्लिम शासकों का इतिहास, पुष्यमित्र शुंग का शासन और मनुस्मृति की रचना तथा मनुस्मृति का शासन आदि को सच्चाई और तथ्यों के साथ विश्व के सामने तथा भारत के नागरिकों के सामने लाया जायेगा। 8. निजी क्षेत्र में असंगठित क्षेत्र में मज़दूरी प्रतिदिन एक व्यक्ति को आज की स्थिति में कम से कम ₹500+महंगाई भत्ता (सरकारी दर) राष्ट्रीय स्तर पर समान रूप से सुनिश्चित की जायेगी। दैनिक मज़दूरी 8 घण्टे के लिए होगी। ये महंगाई के साथ जोड़ी जायेगी। 9. कानून व्यवस्था लागू करके प्रत्येक व्यक्ति को सुरक्षा की गारण्टी सुनिश्चित की जायेगी ताकि भारत देश भयमुक्त जीवन के लिए विश्व का सर्वश्रेष्ठ देश बने। 10. सभी विधायकों, सांसदों, विधानपरिषद सदस्यों को जनप्रतिनिधि के तौर पर एक ही पेंशन दी जायेगी। संसद में उपस्थिति और भागीदारी के आधार पर ही मासिक वेतन और सुविधाएं दी जायेंगी। राजनीति देश और समाज के लिए त्याग करने का माध्यम है, जो जनप्रतिनिधि इसके खिलाफ आचरण करेगा उसके लिए सख़त सजा का प्रबंध किया जायेगा। इन सभी को आज जो वेतन,भत्ते, विशेषाधिकार और सुविधायें मिलती हैं वो आधी कर दी जायेंगी। 11. सभी क्षेत्रों में महिलाओं को कम से कम 50% हिस्सेदारी दी जायेगी जो समानुपातिक प्रतिनिधित्व के सिद्धांत पर आधारित होगी। 12. सभी बेसहारा नागरिकों को कम से कम ₹3000 प्रतिमाह आय सुनिश्चित की जायेगी। 13. सभी तरह के भिन्न-भिन्न समुदायों को सभी तरह की प्रजातान्त्रिक संस्थानों में समानुपातिक प्रतिनिधित्व दिया जायेगा। 14. सरकारी क्षेत्र में पुरानी पेंशन लागू की जायेगी। 15. जातीय जनगणना तत्काल कराई जाएगी ताकि प्रतिनिधित्व पूर्ण भारत निर्माण में किसी समुदाय के साथ अन्याय न हो। सभी राज्य, जिला व तहसील इकाइयों से निवेदन है कि पार्टी का ये कार्यक्रम विस्तार से लोगों को बतायें। इसके लिए साहू जी महाराज के जयंती कार्यक्रम आयोजित करें।