
अल्मोड़ा मुंशी हरि प्रसाद टम्टा धर्मशाला पुननिर्माण समीति के अध्यक्ष महेश चंद्र आर्या द्वारा 3 फरवरी 2023 को अल्मोड़ा पूर्व सांसद प्रदीप टम्टा को धर्मशाला निर्माण के लिए ज्ञापन सौंपा ज्ञापन में कहा गया है कि आए मुंशी हरी प्रसाद टम्टा उत्तराखण्ड के एक प्रख्यात समाज सुधारक थे, जिन्होंने समाजिक समरसता के लिए अनके कार्य किए और अल्मोड़ा नगर के 1945 से 1952 तक नगर पलिका, अल्मोड़ा के अध्यक्ष रहते हुए अनेक विकास कार्य एवं जन कल्याणकारी कार्य किए। जिन्हें आज भी समस्त समाज द्वारा याद किया जाता है। स्व. टम्टा जी ने सन् 1934 में अल्मोड़ा नगर से समता साप्ताहिक पत्र का शुभारंभ किया और 1936 संयुक्त प्रांत से गोंडा जिले से विधायक, यूपी डिप्रेस्ड क्लास के अध्यक्ष रहते हुए शिक्षा के क्षेत्र में 150 से भी अधिक प्राथमिक विद्यालय खोले, और कुमांऊ के अल्मोड़ा में सर्व प्रथम हिल मोटर ट्रान्सपॉट कम्पनी की स्थाना की। वर्ष 2011-12 में विगत दस वर्षों से नगर पलिका परिषद अल्मोड़ा द्वारा पुनर्निमाण के नाम से धर्मशाला भवन को तोड़ दिया गया था। जब से कई बार मुख्यमंत्री द्वारा घोषणाओं के होने एवं नगर पलिका परिषद, अल्मोड़ा द्वारा बोर्ड फंड से निमार्ण कराए जाने के आश्वास के बावजूद भी अभी तक उसमें एक ईंट भी नहीं लग पाई है।
वर्तमान में नगर पलिका अल्मोड़ा निदेशक शहरी विकास निदेशालय, देहरादून (उत्तराखण्ड) पत्रांक 1451/30-1 (2021-3022) दिनांक 25 सितम्बर 2021 को धर्मशाला के स्थान पर स्व. हरि प्रसाद टम्टा रैन बसेरा निर्माण के वित्तीय स्वीकृती के संबन्ध में प्रस्ताव प्रेषित किया गया है। जिसके आंगणक धनराशि 97.71 लाख है। जो कि मुंशी हरि प्रसाद टम्टा जी की भावनाओं के अनुरूप बने धर्मशाला उद्देश्य के विपरीत है। जिसमें नगर पलिका परिषद अल्मोड़ा द्वारा 51 चिन्हित शहरी बेघरों को स्थायी आवास के रूप में रखने के प्रावधान किया गया है। जबकि धर्मशाला का निर्माण गरीब एवं मध्यम वर्ग के मुशाफिरों और शिल्पार्थियों, निर्धन, महिलाओं के शादी विवाह एवं निःशुल्क सभागार हेतु किया गया था।
अतः हम सभी नगरवासी, समाजिक संगठन एवं मुशी हरि प्रसाद टम्टा धर्मशाला पुनर्निमाण संघर्ष समिति उपरोक्त प्रस्ताव का कड़े शब्दों में विरोध करती है। और यह भी अपेक्षा करती है कि यदि नगर पलिका परिषद अल्मोड़ा इस धर्मशाला के पुनर्निमाण करने में सक्षम नहीं है तो संघर्ष समिति को इसके पुनर्निमाण हेतु अनापत्ति(N.O.C.) जारी कर धर्मशाला पुनर्निमाण की स्वीकृति प्रदान करें। ताकि पूर्व में 1962 के अनुरूप बनी धर्मशाला का निर्माण जन सहयोग से आरंभ किया जा सके।अतः समिति आपसे पुनः अनुरोध करती है कि हमारे प्राथर्ना पत्र पर गहन विचार कर अपने स्तर से प्रभावी कार्यवाही करने की कृपा करें। यदि धर्मशाला के स्थान पर रैन बसेरा या कोई अन्य प्रकार का निर्माण नगरपलिका द्वारा उक्त स्थान पर किया जाता है तो समिति आन्दोलन के लिए बाध्य होगी। और आपसे प्रार्थना करती हैं कि आप हमारी भावनाओं पर विचार करते हुए
रैन बसेरा के स्थान पर धर्मशाला निर्माण के लिए उपयुक्त धनराशि उपलब्ध कराएं जिससे उत्तराखण्ड के गौरव समाज सेवी मुंशी हरि प्रसाद टम्टा धर्मशाला निर्माण का कार्य प्रांरभ हो सकें